CAA : रविवार को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने अहमदाबाद में 188 पाकिस्तानी हिंदुओं को नागरिकता प्रदान की, जो कि नए नागरिकता संशोधन अधिनियम (सीएए) के तहत की गई एक महत्वपूर्ण पहल है। इस मौके पर अमित शाह ने स्पष्ट किया कि भारत सरकार पड़ोसी देशों के उत्पीड़ित हिंदू, जैन, बौद्ध, और सिख अल्पसंख्यकों को नागरिकता देने के लिए प्रतिबद्ध है।
तुष्टिकरण की राजनीति करने का आरोप
समारोह के दौरान, अमित शाह ने कांग्रेस और उसके सहयोगियों पर तुष्टिकरण की राजनीति करने का आरोप लगाया और कहा कि यह सरकार देश की सुरक्षा और अल्पसंख्यकों के अधिकारों की रक्षा के लिए हर संभव कदम उठाएगी। शाह ने यह भी कहा कि सीएए को लेकर फैलाई जा रही भ्रांतियों के बावजूद, यह कानून उन लोगों के लिए है जो अपने देशों में धार्मिक उत्पीड़न का सामना कर रहे हैं और भारत में एक सुरक्षित जीवन चाहते हैं।
नागरिकता प्राप्त करने पर खुशी जाहिर की
इस मौके पर प्राप्तकर्ता नागरिकों ने भारत की नागरिकता प्राप्त करने पर खुशी जाहिर की और सरकार को धन्यवाद दिया। इस घटना को सरकार की नीति का एक बड़ा उदाहरण माना जा रहा है, जो कि पड़ोसी देशों के अल्पसंख्यकों की सहायता के लिए कार्य कर रही है।
कांग्रेस ने वोट बैंक के लिए नहीं दी नागरिकता
अमित शाहगौरतलब है कि गुजरात सरकार ने सीएए के तहत अहमदाबाद जिले में अब तक 1,167 लोगों को भारतीय नागरिकता प्रदान की है। सीएए का ऐतिहासिक संदर्भ देते हुए अमित शाह ने कहा, ‘करोड़ों भारतीय धर्म के आधार पर विभाजन के दौरान लोगों द्वारा सामना किए गए मुद्दों को नहीं भूल सकते।’अमित शाह ने कहा कि कांग्रेस ने अपने वोट बैंक को खुश करने के लिए हमारे लोगों को नागरिकता नहीं दी। हमारा इतिहास इसे सदैव याद रखेगा। इन लोगों का क्या कसूर था जो अपनी संपत्ति छोड़कर अपनी बेटियों और पत्नियों को बचाने के लिए यहां आये थे? कानून इन लोगों की सुरक्षा के लिए है। इस कानून से करोड़ों हिंदू, जैन और सिखों को न्याय मिलेगा।