Rajendra Nagar: दिल्ली के ओल्ड राजेंद्र नगर में एक कोचिंग सेंटर के बेसमेंट में बारिश का पानी भरने से तीन छात्रों की मौत हो गई, जिससे दिल्ली सरकार की आलोचना हो रही है। इस दुर्घटना पर कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने गहरा शोक व्यक्त किया। उन्होंने सोशल मीडिया पर लिखा, “दिल्ली की एक बिल्डिंग के बेसमेंट में पानी भर जाने के कारण प्रतियोगी छात्रों की मृत्यु बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण है। कुछ दिन पहले बारिश के दौरान बिजली का करंट लगने से एक छात्र की मृत्यु हुई थी। सभी शोकाकुल परिजनों को अपनी भावपूर्ण संवेदनाएं व्यक्त करता हूं। इन्फ्रास्ट्रक्चर का ये कोलैप्स सिस्टम की संयुक्त असफलता है। असुरक्षित निर्माण, लचर टाऊन प्लानिंग और हर स्तर पर संस्थाओं की गैरजवाबदेही की कीमत आम नागरिक अपना जीवन गंवा कर चुका रहा है। सुरक्षित और सुविधाजनक जीवन हर नागरिक का अधिकार और सरकारों का दायित्व है।”
मल्लिकार्जुन खरगे ने प्रशासन की लापरवाही को बताया जिम्मेदार
कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने इस घटना पर कहा, “राजधानी दिल्ली में सरकार व प्रशासन की आपराधिक लापरवाही के चलते IAS कोचिंग सेंटर के बेसमेंट में पानी भर जाने से तीन युवाओं की ज़िंदगी चले जाना बेहद दुःखद है। उनके परिवारजनों को हमारी गहरी संवेदनाएं। इससे पहले पटेल नगर में जलभराव के कारण, करंट लग जाने से एक अन्य UPSC अभ्यर्थी की जान चली गई। ख़बरों के मुताबिक पिछले कुछ दिनों में 8 लोगों की जान करंट लगने से गयी है। दिल्ली को कांग्रेस ने अंतर्राष्ट्रीय स्तर का शहर बनाया था। आज भारत की राजधानी उदासीनता का दंश झेल रही है। आये दिन हादसे होते रहते हैं। देश की राजधानी में इस तरह का हादसा होना हम सभी के लिए अत्यंत चिंता की बात है। हमें हमारी राजधानी को बेहतर बनाना होगा ताकि हमारे नागरिक सुरक्षित रहें और यहां रहने व आनेवालों को ये भरोसा हो कि देश की राजधानी में उनकी उपेक्षा नहीं होगी।”
दिल्ली की मेयर शैली ओबेरॉय की प्रतिक्रिया
दिल्ली की मेयर शैली ओबेरॉय ने घटना पर कहा, “कल बहुत ही दुखद घटना हुई। जैसी ही घटना की जानकारी मिली, मैं तुरंत घटनास्थल पर पहुंचीं। वहां पर NDRF की टीम बचाव अभियान कर रही थी। दु:ख की बात है कि इस घटना में 3 बच्चों की मौत हो गई। मैंने कमिश्नर MCD को एक पत्र लिखा है जिसमें उन संस्थानों पर सख्त कार्रवाई की मांग की है जो MCD के क्षेत्राधिकार में आते हैं और वहां पर कानून के विरोध बेसमेंट में कोचिंग सेंटर चला रहे हैं। अगर इस मामले में MCD अधिकारी शामिल मिलते हैं तो उनके खिलाफ भी सख्त कार्रवाई हो। अगर गैर कानूनी तरीके से कोचिंग सेंटर चल रहे हैं, तो उन पर और संबंधित अधिकारियों पर कार्रवाई होगी। इस समय हमें आरोप-प्रत्यारोप नहीं करना चाहिए बल्कि कार्रवाई करनी चाहिए।”
हादसे से उपजा प्रशासनिक सवाल
इस हादसे ने दिल्ली के प्रशासन और सरकार की असफलताओं को उजागर किया है। सुरक्षा और योजना की कमी के चलते छात्रों की जान गई है, जिससे नागरिकों की सुरक्षा पर गंभीर सवाल खड़े हो गए हैं। प्रशासन को इस प्रकार की घटनाओं से बचने के लिए सख्त कदम उठाने की आवश्यकता है।